रीट लेवल प्रथम में चयनित शिक्षकों की नियुक्ति प्रक्रिया में लापरवाही
बरतने के चौतरफा आरोपों से घिरे जिला परिषद के सीईओ लक्ष्मीकांत
अभ्यर्थियों को यहां पोस्टिंग के 13 दिन बाद ही एपीओ कर दिया गया।
लेकिन अभ्यर्थी के बाल पकड़कर खींचने वाले एएसपी चंदनदान बारहठ के खिलाफ अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। हालांकि, बताया जा रहा है कि आईजी ने इस मामले में एसपी तेजस्विनी गौतम से मामले में तथ्यात्मक रिपोर्ट मांगी है। वहीं शनिवार को चौथे दिन भी उस समय बवाल मच गया जब चस्पा की गई सूची में 37 अभ्यर्थियों के नाम नहीं थे। इससे गुस्साए अभ्यर्थियों की परिषद के क्लर्क दीपेश शाह से खासी बहस हो गई। नाखुश अभ्यर्थी सर्किट हाउस पहुंचे और राज्य मंत्री अर्जुनसिंह बामनिया से शिकायत की। अभ्यर्थियों ने क्लर्क दीपेश पर 5-5 हजार रुपए मांगने के भी गंभीर आरोप लगाए।
यहां जिला परिषद की ओर से चस्पा की गई सूची में 37 अभ्यर्थियों का नाम नहीं था। इस पर अभ्यर्थी जिला परिषद गए और बाबू दीपेश से मिले। जहां अभ्यर्थियों को और बाबू के बीच तीखी बहस हो गई। इसी बीच राज्य मंत्री बामनिया के सर्किट हाउस में होने की इत्तला पर कुछ अभ्यर्थी वहां पहुंच गए और बाबू की शिकायत कर डाली। अभ्यर्थियों ने मंत्री से कहा कि साहब, बाबू हमसे 5-5 हजार रुपए मांग रहा है। जिस पर मंत्री ने उसी समय जिला परिषद के क्लर्क दीपेश शाह को सर्किट हाउस बुलाकर फटकारा। मंत्री ने कहा कि जो भी अभ्यर्थी पात्रता सूची के हकदार हैं और उस श्रेणी में आते हैं, उनके नामों की सूची बनाकर जल्दी जिला परिषद के नोटिस बोर्ड पर चस्पा करों। बाद में जिन अभ्यर्थियों के सूची में नाम नहीं हैं, वे शनिवार शाम 7.20 बजे जिला के बाहर ही सड़क पर बैठ गए। अभ्यर्थी दिन में भी सीईओ लक्ष्मीलाल बालोत कार्यालय में आए थे। गौरतलब है कि नियुक्ति के मामले में हाईकोर्ट द्वारा स्टे देने का हवाला देते हुए नियुक्तियां नहीं दी गई थीं और उसके बाद से अभ्यर्थी जिला परिषद के बाहर डेरा जमाए हुए थे, जो राज्यमंत्री बामनिया के धरना स्थल पर पहुंचने और उचित कार्यवाही का आश्वासन देने पर धरना स्थल से उठे थे। उधर एपीओ किए गए सीईओ अब संभागीय आयुक्त कार्यालय में उपस्थिति देंगे।
ज्वॉइनिंग के 13 दिन बाद ही सीईओ बालोत एपीओ
कांग्रेस ने एएसपी को हटाने के लिए सीएम को पत्र लिखा
जिला कांग्रेस कमेटी के समक्ष चयनित अभ्यर्थियाें सीईओ और एएसपी की शिकायत करने पर जिला कांग्रेस कमेटी ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर सीईओ लक्ष्मीकांत बालोत और एएसपी चंदनदान बारहठ के खिलाफ कार्रवाई करने का आग्रह किया। पत्र में लिखा है कि सीईओ की उदासीनता और नकारात्मक सोच की वजह से शिक्षक भर्ती प्रक्रिया समय पर नहीं हो पाई। वे पूरे दिन विकास अधिकारियों काे लेकर चेंबर में बैठे रहे। वहीं अभ्यर्थियों के साथ भी एएसपी बारहठ ने बदसलूकी की।
लेकिन अभ्यर्थी के बाल पकड़कर खींचने वाले एएसपी चंदनदान बारहठ के खिलाफ अब तक कोई कार्रवाई नहीं हुई है। हालांकि, बताया जा रहा है कि आईजी ने इस मामले में एसपी तेजस्विनी गौतम से मामले में तथ्यात्मक रिपोर्ट मांगी है। वहीं शनिवार को चौथे दिन भी उस समय बवाल मच गया जब चस्पा की गई सूची में 37 अभ्यर्थियों के नाम नहीं थे। इससे गुस्साए अभ्यर्थियों की परिषद के क्लर्क दीपेश शाह से खासी बहस हो गई। नाखुश अभ्यर्थी सर्किट हाउस पहुंचे और राज्य मंत्री अर्जुनसिंह बामनिया से शिकायत की। अभ्यर्थियों ने क्लर्क दीपेश पर 5-5 हजार रुपए मांगने के भी गंभीर आरोप लगाए।
यहां जिला परिषद की ओर से चस्पा की गई सूची में 37 अभ्यर्थियों का नाम नहीं था। इस पर अभ्यर्थी जिला परिषद गए और बाबू दीपेश से मिले। जहां अभ्यर्थियों को और बाबू के बीच तीखी बहस हो गई। इसी बीच राज्य मंत्री बामनिया के सर्किट हाउस में होने की इत्तला पर कुछ अभ्यर्थी वहां पहुंच गए और बाबू की शिकायत कर डाली। अभ्यर्थियों ने मंत्री से कहा कि साहब, बाबू हमसे 5-5 हजार रुपए मांग रहा है। जिस पर मंत्री ने उसी समय जिला परिषद के क्लर्क दीपेश शाह को सर्किट हाउस बुलाकर फटकारा। मंत्री ने कहा कि जो भी अभ्यर्थी पात्रता सूची के हकदार हैं और उस श्रेणी में आते हैं, उनके नामों की सूची बनाकर जल्दी जिला परिषद के नोटिस बोर्ड पर चस्पा करों। बाद में जिन अभ्यर्थियों के सूची में नाम नहीं हैं, वे शनिवार शाम 7.20 बजे जिला के बाहर ही सड़क पर बैठ गए। अभ्यर्थी दिन में भी सीईओ लक्ष्मीलाल बालोत कार्यालय में आए थे। गौरतलब है कि नियुक्ति के मामले में हाईकोर्ट द्वारा स्टे देने का हवाला देते हुए नियुक्तियां नहीं दी गई थीं और उसके बाद से अभ्यर्थी जिला परिषद के बाहर डेरा जमाए हुए थे, जो राज्यमंत्री बामनिया के धरना स्थल पर पहुंचने और उचित कार्यवाही का आश्वासन देने पर धरना स्थल से उठे थे। उधर एपीओ किए गए सीईओ अब संभागीय आयुक्त कार्यालय में उपस्थिति देंगे।
ज्वॉइनिंग के 13 दिन बाद ही सीईओ बालोत एपीओ
कांग्रेस ने एएसपी को हटाने के लिए सीएम को पत्र लिखा
जिला कांग्रेस कमेटी के समक्ष चयनित अभ्यर्थियाें सीईओ और एएसपी की शिकायत करने पर जिला कांग्रेस कमेटी ने मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर सीईओ लक्ष्मीकांत बालोत और एएसपी चंदनदान बारहठ के खिलाफ कार्रवाई करने का आग्रह किया। पत्र में लिखा है कि सीईओ की उदासीनता और नकारात्मक सोच की वजह से शिक्षक भर्ती प्रक्रिया समय पर नहीं हो पाई। वे पूरे दिन विकास अधिकारियों काे लेकर चेंबर में बैठे रहे। वहीं अभ्यर्थियों के साथ भी एएसपी बारहठ ने बदसलूकी की।
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