कुडग़ांव. महमदपुर के राजकीय उच्च माध्यमिक विद्यालय में शिक्षकों के
रोजाना देरी से आने से नाराज ग्रामीणों ने शनिवार सुबह ११ बजे स्कूल पर
ताला लगाकर प्रदर्शन किया। ग्रामीणों का कहना था कि बोर्ड परीक्षाएं नजदीक आ
रही है, लेकिन शिक्षकों को विद्यार्थियों के भविष्य की चिंता नहीं है।
शिक्षकों के रोजाना देरी से आने से पढाई चौपट हो रही है। शनिवार सुबह 11 बजे तक विद्यालय में 14 शिक्षकों में से मात्र ३ ही स्कूल पहुंचे।
ग्रामीणों ने बताया कि महमदपुर विद्यालय सड़क किनारे है, जहां आवागमन के भरपूर सुविधाजनक तरीके से साधन है, लेकिन फिर भी शिक्षक देरी से आते हैं। विद्यालय में 250 विद्यार्थियों का नामांकन है। शिक्षकों के देरी से आने के बारे में कई बार शिक्षा विभाग व प्रशासन के आला अधिकारियों को अवगत कराने के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हो रही।करीब 11 बजे बजे प्रिंसिपल विद्यालय पहुंचे तो ग्रामीणों ने देरी से आने के बारे में पूछा।
इस दौरान प्रिंसिपल ने अन्य कार्य आ जाने से देरी से आना बताया वहीं अन्य शिक्षकों के नहीं पहुंचने पर अनभिज्ञता जताई। हालांकि 11 बजे बाद 4 शिक्षकों को छोड़कर अन्य शिक्षक पहुंच गए। जिसके बाद ग्रामीणों ने विद्यालय की तालाबंदी खोल दी।
पोषाहार के दूध
से बनाते चाय
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि शिक्षक बच्चों को मिलने वाले पोषहार के दूध में से चाय बनाकर पीते हैं।इस बारे में ग्रामीणों ने शिक्षकों से सवाल किया तो वे जवाब नहीं दे पाए। प्रिंसिपल ने बताया कि विद्यालय का समय बदलने के कारण शिक्षक समय पर नहीं आए पाए। लेकिन जब प्रिंसिपल से सवाल किया गया कि विद्यालय का समय 9 से 10 बजे हुआ है, लेकिन इसके बाद स्कूल खुलता है तो प्रिंसिपल भी इधर उधर झांकते नजर आए। ग्रामीणों ने शिक्षकों को चेतावनी दी कि यदि अब समय पर नहीं आए तो स्कूल में घुसने नहीं दिया जाएगा।
शिक्षकों के रोजाना देरी से आने से पढाई चौपट हो रही है। शनिवार सुबह 11 बजे तक विद्यालय में 14 शिक्षकों में से मात्र ३ ही स्कूल पहुंचे।
ग्रामीणों ने बताया कि महमदपुर विद्यालय सड़क किनारे है, जहां आवागमन के भरपूर सुविधाजनक तरीके से साधन है, लेकिन फिर भी शिक्षक देरी से आते हैं। विद्यालय में 250 विद्यार्थियों का नामांकन है। शिक्षकों के देरी से आने के बारे में कई बार शिक्षा विभाग व प्रशासन के आला अधिकारियों को अवगत कराने के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हो रही।करीब 11 बजे बजे प्रिंसिपल विद्यालय पहुंचे तो ग्रामीणों ने देरी से आने के बारे में पूछा।
इस दौरान प्रिंसिपल ने अन्य कार्य आ जाने से देरी से आना बताया वहीं अन्य शिक्षकों के नहीं पहुंचने पर अनभिज्ञता जताई। हालांकि 11 बजे बाद 4 शिक्षकों को छोड़कर अन्य शिक्षक पहुंच गए। जिसके बाद ग्रामीणों ने विद्यालय की तालाबंदी खोल दी।
पोषाहार के दूध
से बनाते चाय
ग्रामीणों ने आरोप लगाया कि शिक्षक बच्चों को मिलने वाले पोषहार के दूध में से चाय बनाकर पीते हैं।इस बारे में ग्रामीणों ने शिक्षकों से सवाल किया तो वे जवाब नहीं दे पाए। प्रिंसिपल ने बताया कि विद्यालय का समय बदलने के कारण शिक्षक समय पर नहीं आए पाए। लेकिन जब प्रिंसिपल से सवाल किया गया कि विद्यालय का समय 9 से 10 बजे हुआ है, लेकिन इसके बाद स्कूल खुलता है तो प्रिंसिपल भी इधर उधर झांकते नजर आए। ग्रामीणों ने शिक्षकों को चेतावनी दी कि यदि अब समय पर नहीं आए तो स्कूल में घुसने नहीं दिया जाएगा।
No comments:
Post a Comment