पद नाम पंचायत सहायक, काम स्कूलों का भी : पदनाम तो ग्राम पंचायत सहायक दिया
गया है लेकिन ये ग्राम पंचायत के साथ संबंधित विद्यालयों से जुड़े काम भी
निर्देशानुसार करेंगे।
ये कम्प्यूटर संचालन, पंचायत से संबंधित सूचनाओं का संकलन करने के साथ ही क्षेत्र की स्कूलों की स्थिति के बारे में भी सूचनाओं को एकत्र करने और जरूरी होने पर स्कूल में क्लर्क स्तर के काम भी करेंगे। ग्राम पंचायतों की ग्राम पंचायत विकास योजना (जीपीडीपी) से संबंधित काम भी करेंगे।
यह होगी चयन प्रक्रिया : राज्यसरकार ग्राम पंचायत सहायकों के पदों पर चयन एसडीएमसी से कराएगी। यह पदेन पंचायत प्रारंभिक शिक्षा अधिकारी की देखरेख में काम करेगी। चयन के लिए क्या मानदंड होंगे, इसके लिए स्कूल शिक्षा विभाग की ओर से अलग से निर्देश जारी किए जाएंगे। एसडीएमसी चयन की प्रक्रिया पूरी कर अपनी अनुशंसित सूची जिला स्तरीय समिति को देगी। जिला स्तरीय समिति इस सूची को सीईओ को देगी। जिप के अनुमोदन के बाद चयनित अभ्यर्थी को समेकित मानदेय पर पूर्णतया अस्थायी रूप से नियोजन के लिए लगाया जाएगा। जिला स्तरीय समिति या जिला परिषद की ओर से अगर किसी अभ्यर्थी के लिए अनुशंसा नहीं करती है तो एसडीएमसी फिर से बैठक करके नए नाम प्रस्तावित करेगी।
छह हजार रुपए के मानदेय पर लगेंगे
सरकारने मानदेय के आधार पर लगाए जाने वाले इस पंचायत सहायकों को प्रति सहायक छह हजार रुपए देगी। बहरहाल यह पद अस्थायी है।
विद्यार्थीमित्रों को एडजस्ट करने के लिए उठाया कदम : यहभर्ती सरकार ने भर्ती विद्यार्थी मित्रों को एडजस्ट करने के लिए निकाली है। राज्य सरकार के पंचायतीराज विभाग ने 25 जनवरी, 2017 को ही अधिसूचना जारी कर राजस्थान पंचायतीराज नियम, 1996 के नियम 258 में कुछ संशोधन किया है। इसमें संशोधित उपनियम (8) के बाद उपनियम (9) जोड़ा गया है, जिसमें स्कूल शिक्षा विभाग का कोई अधिकारी स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा पदेन पंचायत प्रारंभिक शिक्षा अधिकारी घोषित किया जाएगा, यह जोड़ा गया है। साथ ही उप नियम (8) में शामिल ग्राम सभा द्वारा शब्द को हटा दिया गया है। विभाग ने 27 जनवरी को भर्ती के संबंध में परिपत्र भी जारी कर दिया है।
प्रदेशभर में कुछ दिनों में होने वाली ग्राम पंचायत सहायकों की भर्ती से जिले में भी पढ़े-लिखे करीब सात सौ बेराेजगारों को रोजगार मिलने वाला है। उधर प्रशासन ने भी इस भर्ती को लेकर कवायद शुरू कर दी है। सरकार कुछ दिनों में प्रदेश भर में 27 हजार पदों पर ग्राम पंचायत सहायक भर्ती को हरी झंडी दी है। प्रत्येक पंचायत में तीन-तीन ग्राम पंचायत सहायक लगाए जाएंगे। इनकी न्यूनतम शैक्षिक योग्यता माध्यमिक शिक्षा विभाग से सीनियर सेकंडरी उत्तीर्ण रखी है। इसको लेकर सरकार ने एक बार फिर से प्रक्रिया शुरू कर दी है। इस बार यह भर्ती ग्राम सभा के स्थान पर संबंधित विद्यालय की विद्यालय विकास एवं प्रबंधन समिति (एसडीएमसी) करेगी। हालांकि इसका सारा काम शिक्षा विभाग की ओर से नियुक्त अधिकारी की देखरेख में होगा। इस अधिकारी की नियुक्ति स्कूल शिक्षा विभाग की ओर से की जाएगी। इस भर्ती का नोडल अधिकारी डीईओ प्रारंभिक को बनाया गया है। ग्राम पंचायत सहायकों की नियुक्ति से जिले में भी 230 पंचायतों के हिसाब से 690 बेरोजगारों को नया रोजगार मिलेगा।
ये कम्प्यूटर संचालन, पंचायत से संबंधित सूचनाओं का संकलन करने के साथ ही क्षेत्र की स्कूलों की स्थिति के बारे में भी सूचनाओं को एकत्र करने और जरूरी होने पर स्कूल में क्लर्क स्तर के काम भी करेंगे। ग्राम पंचायतों की ग्राम पंचायत विकास योजना (जीपीडीपी) से संबंधित काम भी करेंगे।
यह होगी चयन प्रक्रिया : राज्यसरकार ग्राम पंचायत सहायकों के पदों पर चयन एसडीएमसी से कराएगी। यह पदेन पंचायत प्रारंभिक शिक्षा अधिकारी की देखरेख में काम करेगी। चयन के लिए क्या मानदंड होंगे, इसके लिए स्कूल शिक्षा विभाग की ओर से अलग से निर्देश जारी किए जाएंगे। एसडीएमसी चयन की प्रक्रिया पूरी कर अपनी अनुशंसित सूची जिला स्तरीय समिति को देगी। जिला स्तरीय समिति इस सूची को सीईओ को देगी। जिप के अनुमोदन के बाद चयनित अभ्यर्थी को समेकित मानदेय पर पूर्णतया अस्थायी रूप से नियोजन के लिए लगाया जाएगा। जिला स्तरीय समिति या जिला परिषद की ओर से अगर किसी अभ्यर्थी के लिए अनुशंसा नहीं करती है तो एसडीएमसी फिर से बैठक करके नए नाम प्रस्तावित करेगी।
छह हजार रुपए के मानदेय पर लगेंगे
सरकारने मानदेय के आधार पर लगाए जाने वाले इस पंचायत सहायकों को प्रति सहायक छह हजार रुपए देगी। बहरहाल यह पद अस्थायी है।
विद्यार्थीमित्रों को एडजस्ट करने के लिए उठाया कदम : यहभर्ती सरकार ने भर्ती विद्यार्थी मित्रों को एडजस्ट करने के लिए निकाली है। राज्य सरकार के पंचायतीराज विभाग ने 25 जनवरी, 2017 को ही अधिसूचना जारी कर राजस्थान पंचायतीराज नियम, 1996 के नियम 258 में कुछ संशोधन किया है। इसमें संशोधित उपनियम (8) के बाद उपनियम (9) जोड़ा गया है, जिसमें स्कूल शिक्षा विभाग का कोई अधिकारी स्कूल शिक्षा विभाग द्वारा पदेन पंचायत प्रारंभिक शिक्षा अधिकारी घोषित किया जाएगा, यह जोड़ा गया है। साथ ही उप नियम (8) में शामिल ग्राम सभा द्वारा शब्द को हटा दिया गया है। विभाग ने 27 जनवरी को भर्ती के संबंध में परिपत्र भी जारी कर दिया है।
प्रदेशभर में कुछ दिनों में होने वाली ग्राम पंचायत सहायकों की भर्ती से जिले में भी पढ़े-लिखे करीब सात सौ बेराेजगारों को रोजगार मिलने वाला है। उधर प्रशासन ने भी इस भर्ती को लेकर कवायद शुरू कर दी है। सरकार कुछ दिनों में प्रदेश भर में 27 हजार पदों पर ग्राम पंचायत सहायक भर्ती को हरी झंडी दी है। प्रत्येक पंचायत में तीन-तीन ग्राम पंचायत सहायक लगाए जाएंगे। इनकी न्यूनतम शैक्षिक योग्यता माध्यमिक शिक्षा विभाग से सीनियर सेकंडरी उत्तीर्ण रखी है। इसको लेकर सरकार ने एक बार फिर से प्रक्रिया शुरू कर दी है। इस बार यह भर्ती ग्राम सभा के स्थान पर संबंधित विद्यालय की विद्यालय विकास एवं प्रबंधन समिति (एसडीएमसी) करेगी। हालांकि इसका सारा काम शिक्षा विभाग की ओर से नियुक्त अधिकारी की देखरेख में होगा। इस अधिकारी की नियुक्ति स्कूल शिक्षा विभाग की ओर से की जाएगी। इस भर्ती का नोडल अधिकारी डीईओ प्रारंभिक को बनाया गया है। ग्राम पंचायत सहायकों की नियुक्ति से जिले में भी 230 पंचायतों के हिसाब से 690 बेरोजगारों को नया रोजगार मिलेगा।
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