बाघसूरी राजस्थान माध्यमिक शिक्षा बोर्ड,अजमेर की कथित लापरवाही के चलते राजकीय आदर्श उच्च माध्यमिक विद्यालय की कक्षा 10 के छात्र को अंक तालिका में कम नम्बर मिले, जबकि उसकी उत्तर पुस्तिका में ज्यादा अंक थे। छात्र द्वारा पुनर्मूल्यांकन कराने के बाद बोर्ड प्रशासन की कथित लापरवाही सामने आई।
बाघसूरी निवासी छात्र लोकेश बंजारा ने दसवीं बोर्ड की परीक्षा दी थी। उसकी मार्कशीट में हिन्दी विषय में सत्रांक के 20 अंक दर्ज किए, जबकि हिन्दी विषय में उत्तर पुस्तिका में 33 अंक ही दर्शा रखे थे। हिन्दी विषय की उत्तर पुस्तिका के मूल मुख्य पृष्ठ पर कुल योग 34 अंक लिखे थे।
छात्र ने जून 2016 में मूल्यांकन का आवेदन ई-मित्र केन्द्र के माध्यम से किया। परिणाम में कुल 54 अंक प्राप्त हुए हैं। इस प्रकार बोर्ड की कथित लापरवाही से छात्र के कम अंक से नवोदय विद्यालय व पॉलिटेक्निक कॉलेज में प्रवेश नहीं हो सका।
बोर्ड ऑफिस से जानकारी लेने पर बताया गया कि कम्प्यूटर ऑपरेटर या परीक्षक की गलती से ऐसा हुआ। बोर्ड प्रशासन ने उत्तर पुस्तिका को पुन:मूल्यांकन कर कुल महायोग में 1 अंक की बढ़ोतरी की है। इस प्रकार छात्र के 469 के बजाय अब 470 अंक हो गए हैं।
बाघसूरी निवासी छात्र लोकेश बंजारा ने दसवीं बोर्ड की परीक्षा दी थी। उसकी मार्कशीट में हिन्दी विषय में सत्रांक के 20 अंक दर्ज किए, जबकि हिन्दी विषय में उत्तर पुस्तिका में 33 अंक ही दर्शा रखे थे। हिन्दी विषय की उत्तर पुस्तिका के मूल मुख्य पृष्ठ पर कुल योग 34 अंक लिखे थे।
छात्र ने जून 2016 में मूल्यांकन का आवेदन ई-मित्र केन्द्र के माध्यम से किया। परिणाम में कुल 54 अंक प्राप्त हुए हैं। इस प्रकार बोर्ड की कथित लापरवाही से छात्र के कम अंक से नवोदय विद्यालय व पॉलिटेक्निक कॉलेज में प्रवेश नहीं हो सका।
बोर्ड ऑफिस से जानकारी लेने पर बताया गया कि कम्प्यूटर ऑपरेटर या परीक्षक की गलती से ऐसा हुआ। बोर्ड प्रशासन ने उत्तर पुस्तिका को पुन:मूल्यांकन कर कुल महायोग में 1 अंक की बढ़ोतरी की है। इस प्रकार छात्र के 469 के बजाय अब 470 अंक हो गए हैं।
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