उदयपुर। प्रदेश के सरकारी कर्मचारी जल्द खादी की वेशभूषा में नजर आ सकते हैं। इसके लिए सरकारी स्तर पर तैयारियां की जा रही हैं। इस दौरान सप्ताह में दो दिन सरकारी कर्मचारियों को खादी की वेशभूषा पहननी आवश्यक होगी। वहीं जनप्रतिनिधियों को भी सप्ताह में एक दिन खादी पहननी होगी।
यह बात खादी ग्रामोद्योग बोर्ड के अध्यक्ष शम्भूदयाल बडग़ुर्जर ने मंगलवार को यहां कही। उन्होंने कहा कि बोर्ड खादी को प्रोत्साहन देने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहा है।मुख्यमंत्री से चर्चा कर प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों के लिए सप्ताह में दो दिन खादी की वेशभूषा अनिवार्य करने का सुझाव दिया गया।
इस पर मुख्यमंत्री का रवैया सकारात्मक है और अक्टूबर से इसे लागू भी कर दिया जाए। साथ ही विभिन्न संस्थाओं में खादी का उपयोग बढ़ाने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि खादी और स्वदेशी उत्पादों के प्रति प्रधानमंत्री का पक्ष भी सकारात्मक है। केंद्रीय कर्मचारी शुक्रवार को खादी का ही उपयोग करते हैं।
उन्होंने कहा कि खादी से ज्यादा से ज्यादा श्रमिकों को जोडऩे के लिए ऑनलाइन आवेदन आमंत्रित किए जा रहे हैं। खादी उत्पाद से जुड़े लोगों का रोजगार सुनिश्चित करने के लिए कुछ जगह इन्हें मनरेगा से भी जोड़ा गया है। उदयपुर जिले में कई क्षेत्रों में कनेक्टिविटी की समस्या के चलते ऑनलाइन आवेदन की जगह कुछ छूट दी जाएगी। साथ ही अधिकारियों भी पाबंद किया जा रहा है कि वे सकारात्मक सोच के साथ
के साथ आवेदनों की कमियों को मोबाइल पर बातचीत के जरिये दूर करें। बीकानेर में कपड़ा प्रोसेज प्लांट लगाया गया है, जो अगस्त में शुरू होगा।
फैशन से जुड़े कपड़े भी
देश में खादी पहनने के प्रति रुझान पैदा करने के प्रयास किए जा रहे हैं। अब खादी से बने एक से बढ़कर एक उत्पाद मौजूद हैं। इनमें कपड़ों के साथ ही रेडिमेड पेंट, शर्ट, मोदी नाम की जैकेट सहित अन्य कई प्रकार के उत्पाद शामिल हैं। आगामी दिनों में महिलाओं के लिए भी कपड़े तैयार किए जाएंगे।
खोले जा रहे हैं सेंटर
प्रदेश में खादी को प्रोत्साहित करने के लिए नए सेंटर खोले जा रहे हैं। अब तक तीन सेंटर खोले गए हैं। प्रत्येक सेंटर को बोर्ड की ओर से 10 चरखे और 5 करघे दिए जा रहे हैं। ये संसाधन सौर ऊर्जा से संचालित होते हैं। एेसे में कपड़ा बनाने के लिए कम व्यक्तियों की जरूरत होगी और इससे आय भी अधिक होगी।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC
यह बात खादी ग्रामोद्योग बोर्ड के अध्यक्ष शम्भूदयाल बडग़ुर्जर ने मंगलवार को यहां कही। उन्होंने कहा कि बोर्ड खादी को प्रोत्साहन देने के लिए हरसंभव प्रयास कर रहा है।मुख्यमंत्री से चर्चा कर प्रदेश के सरकारी कर्मचारियों के लिए सप्ताह में दो दिन खादी की वेशभूषा अनिवार्य करने का सुझाव दिया गया।
इस पर मुख्यमंत्री का रवैया सकारात्मक है और अक्टूबर से इसे लागू भी कर दिया जाए। साथ ही विभिन्न संस्थाओं में खादी का उपयोग बढ़ाने के लिए प्रयास किए जा रहे हैं। उन्होंने कहा कि खादी और स्वदेशी उत्पादों के प्रति प्रधानमंत्री का पक्ष भी सकारात्मक है। केंद्रीय कर्मचारी शुक्रवार को खादी का ही उपयोग करते हैं।
उन्होंने कहा कि खादी से ज्यादा से ज्यादा श्रमिकों को जोडऩे के लिए ऑनलाइन आवेदन आमंत्रित किए जा रहे हैं। खादी उत्पाद से जुड़े लोगों का रोजगार सुनिश्चित करने के लिए कुछ जगह इन्हें मनरेगा से भी जोड़ा गया है। उदयपुर जिले में कई क्षेत्रों में कनेक्टिविटी की समस्या के चलते ऑनलाइन आवेदन की जगह कुछ छूट दी जाएगी। साथ ही अधिकारियों भी पाबंद किया जा रहा है कि वे सकारात्मक सोच के साथ
के साथ आवेदनों की कमियों को मोबाइल पर बातचीत के जरिये दूर करें। बीकानेर में कपड़ा प्रोसेज प्लांट लगाया गया है, जो अगस्त में शुरू होगा।
फैशन से जुड़े कपड़े भी
देश में खादी पहनने के प्रति रुझान पैदा करने के प्रयास किए जा रहे हैं। अब खादी से बने एक से बढ़कर एक उत्पाद मौजूद हैं। इनमें कपड़ों के साथ ही रेडिमेड पेंट, शर्ट, मोदी नाम की जैकेट सहित अन्य कई प्रकार के उत्पाद शामिल हैं। आगामी दिनों में महिलाओं के लिए भी कपड़े तैयार किए जाएंगे।
खोले जा रहे हैं सेंटर
प्रदेश में खादी को प्रोत्साहित करने के लिए नए सेंटर खोले जा रहे हैं। अब तक तीन सेंटर खोले गए हैं। प्रत्येक सेंटर को बोर्ड की ओर से 10 चरखे और 5 करघे दिए जा रहे हैं। ये संसाधन सौर ऊर्जा से संचालित होते हैं। एेसे में कपड़ा बनाने के लिए कम व्यक्तियों की जरूरत होगी और इससे आय भी अधिक होगी।
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