बीस साल में यह दूसरा ही अवसर है, जब समारोह बिड़ला सभागार से बाहर आयोजित होगा। कार्यक्रम को बड़ा आकार देने के लिए शिक्षा विभाग ने इस समारोह में वर्ष 2013 के बाद नियुक्त हुए करीब 50 हजार शिक्षकों को बुलाने की तैयारी की है।
शिक्षकों के आने का सारा खर्चा सरकार वहन करेगी। चुनावी साल होने के कारण माना जा रहा है कि सरकार इस समारोह के जरिए नवनियुक्त शिक्षकों को संदेश देना चाहेगी कि हमने आपको नियुक्ति दी है, आप चुनाव में हमें मत भूल जाना। समारोह के लिए इन नव नियुक्त शिक्षकों के आई कार्ड भी बनाए जा रहे हैं। इसमें उनकी नियुक्ति की तिथि अंकित है। अमरूदों के बाग में होने वाले समारोह में जिलावार ब्लॉक होंगे। ब्लॉकों की जिम्मेदारी संबंधित जिले के जिला शिक्षा अधिकारियों की होगी। वे आने वाले शिक्षकों के आई कार्ड देखकर अपनी लिस्ट से मिलान करेंगे ताकि उनको टीए-डीए का भुगतान हो सके। सरकार ने शिक्षकों के आने-जाने के इस खर्चे के लिए 8.51 करोड़ रुपए की राशि स्वीकृत की है।
समारोह में होगा 123 शिक्षक-अफसरों का सम्मान
समारोह में शिक्षक, जिला कलेक्टर और अन्य अधिकारियों को मिलाकर कुल 123 जनों को सम्मानित किया जाएगा। इसमें प्रारंभिक और माध्यमिक शिक्षा के सम्मान के लिए चयनित 63 शिक्षक, 33 को श्री गुरुजी सम्मान दिया जाएगा। साथ ही 3 जिला कलेक्टर, 6 जिला शिक्षा अधिकारी और 6 एडीपीसी को भी सम्मानित किया जाएगा।
सम्मान समारोह पहले रवींद्र मंच, फिर शुरू हुआ बिड़ला सभागार में
पहले शिक्षक सम्मान समारोह रवींद्र मंच पर होता था। लेकिन बिडला सभागार के निर्माण के बाद करीब 20 साल से यह समारोह इसी सभागार में होता आया है। बिड़ला सभागार बुक होने के कारण इस बीच केवल एक बार यह समारोह महाराणा प्रताप सभागार में हुआ था। यह पहला मौका है जब इस समारोह को अमरूदों के बाग में आयोजित किया जाएगा।
समारोह के बाद होता था खाना, इस बार नहीं होगा
सम्मान समारोह के बाद हमेशा से ही भोजन का कार्यक्रम होता आया है। लेकिन इस बार भोजन का कार्यक्रम रद्द कर दिया गया है। पहले दिन 4 सितंबर को होने वाली सास्कृतिक संध्या बिडला सभागार में ही होगी।
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