अजमेर.शिक्षा राज्यमंत्री प्रो. वासुदेव देवनानी ने गुरुवार को शिक्षा संकुल स्थित सभागार में एनआईसी के सहयोग से तैयार निजी विद्यालयों की ऑनलाइन मान्यता संबंधित प्राइवेट स्कूल पोर्टल का लोकार्पण किया। इस पोर्टल के प्रारंभ होने के बाद अब इसी सत्र से निजी विद्यालय मान्यता, क्रमोन्नयन, अतिरिक्त विषय स्थान परिवर्तन आदि के लिए ऑनलाइन आवेदन कर सकेंगे।
साथ ही तात्कालिक स्टेटस भी एक क्लिक कर घर बैठे ही जान सकेंगे।
देवनानी ने बताया कि राज्य सरकार ने चरणबद्ध रूप से प्रदेश में पहले शाला दर्पण, शाला दर्शन, ऑनलाइन ई-पोर्टल के बाद अब निजी विद्यालयों की मान्यता ऑनलाइन किए जाने के लिए इस पोर्टल को तैयार किया है। उन्होंने बताया कि विद्यालयों की ऑनलाइन मान्यता प्रक्रिया के तहत अब मान्यता निरीक्षण के समय वीडियोग्राफी नहीं होगी, बल्कि विद्यालय इस पोर्टल पर विद्यालय क्षेत्र के पांच फोटो अपलोड कर सकेंगे। निजी विद्यालयों की मान्यता के लिए इस सत्र के लिए अंतिम तिथि 30 अप्रैल रखी गई है। आवेदन की हार्ड कॉपी संबंधित शिक्षा अधिकारी कार्यालय में निजी विद्यालय 10 मई तक जमा करा सकेंगे।
माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की ओर से संबंधित निजी विद्यालयों को 12 जुलाई तक स्वीकृति अथवा अस्वीकृति की सूचना दी जाएगी। जो निजी विद्यालय मान्यता के नियमों को पूरा करते हैं। स्वीकृति पश्चात उन्हें 8 जुलाई तक आरक्षित कोष एवं बालिका फाउंडेशन की देय राशि का ड्राफ्ट जमा कराना होगा।
मान्यता प्रक्रिया में अब रहेगी पारदर्शिता
प्रो. देवनानी ने संविधान निर्माता बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की 125वीं जयंती पर ऑनलाइन मान्यता पोर्टल के लिए बधाई देते हुए कहा कि पोर्टल शुरू होने से अब पारदर्शिता के साथ निजी विद्यालयों को मान्यता मिल सकेगी। आवश्यकता इस बात की है कि निजी एवं सरकारी क्षेत्र के जरिए शिक्षा का अधिकाधिक प्रसार कर नामांकन एवं गुणवत्ता वृद्धि में राजस्थान को देशभर में अग्रणी बनाया जाए। उन्होंने सरकारी विद्यालयों में बढ़े साढ़े 8 लाख बच्चों के नामांकन को अगले सत्र में 10 लाख तक किए जाने पर भी जोर दिया।
आईसीटी ब्रिज के रूप में काम करेगा पोर्टल
शिक्षा राज्यमंत्री देवनानी ने बताया कि ऑनलाइन मान्यता सिस्टम आरटीई पोर्टल का ही एक एक्सटेंशन है जो अब से प्राइवेट स्कूल पोर्टल के नाम से जाना जाएगा। राज्य सरकार एवं राज्य के निजी विद्यालयों के लिए यह प्राईवेट स्कूल पोर्टल एक आईसीटी ब्रिज के रूप में काम करेगा।
आरटीई पोर्टल पर पूर्व में पंजीकृत सभी निजी विद्यालयों को इस बाबत एक यूनिक कोड पीएसपी यूनिक कोड आवंटित किया गया है। ऑनलाइन प्रक्रिया के लिए आरटीई पोर्टल पर पहले से पंजीकृत करीब 34000 विद्यालयों को अलग से पंजीकरण नहीं कराना होगा। उनके विद्यालय लॉगइन में ही मान्यता मेनू के अंतर्गत विभिन्न आप्शन उपलब्ध होंगे।
आगामी सत्र से पहले सभी पात्र शिक्षकों को मिलेगा पदोन्नति लाभ
शिक्षा राज्यमंत्री वासुदेव देवनानी ने कहा है कि प्रदेश में 13 हजार नए व्याख्याताओं की भर्ती जुलाई माह तक कर दी जाएगी। विद्यालयों में प्रयोगशाला सहायकों के पदों पर भी शीघ्र भर्ती प्रक्रिया शुरू की जा रही है। पदोन्नत द्वितीय श्रेणी शिक्षकों के 12 हजार पदों पर पदस्थापन आदेश जारी किए जा रहे हैं।
देवनानी गुरुवार को पोद्दार स्कूल में राजस्थान शिक्षा सेवा प्राध्यापक संघ (रेसला), राजस्थान शिक्षा सेवा परिषद (प्रधानाचार्य) द्वारा ‘सशक्त राष्ट्र के निर्माण में सामाजिक समरसता अभिवृद्धि के लिए शिक्षा की भूमिका’ तथा ‘माध्यमिक शिक्षा में वर्तमान में हुई प्रगति’ विषयक ‘मंथन’ समारोह में संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राजस्थान में 55 हजार शिक्षकों की पदोन्नति की गई है।
वर्ष 2016-17 की डीपीसी की भी तैयारी कर ली गई है। 15 अप्रैल से डीपीसी की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी जाएगी। आगामी सत्र से पहले-पहले सभी पात्रता रखने वाले शिक्षकों को पदोन्नति का लाभ प्रदान किया जाएगा। डीडी के सभी 33 पदों पर डीपीसी कर दी गई है, पदस्थापन से अब डीडी का कोई पद रिक्त नहीं रहेगा।
नामांकित बच्चों की संख्या 80 लाख तक पहुंचाएं
देवनानी ने शिक्षकों से कहा कि वे प्रदेश में सरकारी विद्यालयों में नामांकित 68.5 लाख बच्चों की संख्या को बढ़ाकर 80 लाख तक पहुंचाएं। उन्होंने राजकीय विद्यालयों में पढ़ाने के स्तर में वृद्धि करने, वहां के माहौल को बच्चों के अनुकूल करने आदि के गुणात्मक प्रयास करने के साथ ही बच्चों को श्रेष्ठ शिक्षा देने पर जोर दिया।
उन्होंने विद्यालयों में सुबह वंदेमातरम, ध्यान, योग और सूर्य नमस्कार कराने तथा विद्यार्थियों को नैतिकता और संस्कार प्रदान करने वाली शिक्षा दिए जाने का आह्वान किया। देवनानी ने बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की 125वीं जयंती पर रेसला के आयोजन को महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि बाबा साहब सभी समाजों के मसीहा थे। उन्होंने कहा कि सामाजिक समरसता शिक्षा के द्वारा ही संभव है।
प्रदेश में शिक्षा के लिए 209 अरब का बजट, मगर हम समाज को क्या दे रहे
प्रदेश में शिक्षा के 209 अरब के बजट की चर्चा करते हुए देवनानी ने कहा कि इस बड़ी राशि के प्रावधान के बदले हम समाज को क्या अपनी ओर से दे रहे हैं, इस पर भी शिक्षक विचार करें। इससे पहले समारोह में देवनानी का रेसला की ओर से 21 किलो की पुष्पमाला पहनाकर अभिनंदन किया गया।
समारोह में माध्यमिक शिक्षा के निदेशक बीएल स्वर्णकार, निदेशक प्राथमिक शिक्षा जगदीश पुरोहित, माध्यमिक शिक्षा अभियान के आयुक्त बाबूलाल मीणा, अतिरिक्त आयुक्त जस्सा राम चौधरी ने कहा कि गुणवत्ता की शिक्षा के लिए शिक्षक समुदाय प्रतिबद्ध होकर कार्य करें। रेसला के प्रदेशाध्यक्ष मोहन सियाग ने संगठन से संबंधित कार्यों की जानकारी दी।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC
साथ ही तात्कालिक स्टेटस भी एक क्लिक कर घर बैठे ही जान सकेंगे।
देवनानी ने बताया कि राज्य सरकार ने चरणबद्ध रूप से प्रदेश में पहले शाला दर्पण, शाला दर्शन, ऑनलाइन ई-पोर्टल के बाद अब निजी विद्यालयों की मान्यता ऑनलाइन किए जाने के लिए इस पोर्टल को तैयार किया है। उन्होंने बताया कि विद्यालयों की ऑनलाइन मान्यता प्रक्रिया के तहत अब मान्यता निरीक्षण के समय वीडियोग्राफी नहीं होगी, बल्कि विद्यालय इस पोर्टल पर विद्यालय क्षेत्र के पांच फोटो अपलोड कर सकेंगे। निजी विद्यालयों की मान्यता के लिए इस सत्र के लिए अंतिम तिथि 30 अप्रैल रखी गई है। आवेदन की हार्ड कॉपी संबंधित शिक्षा अधिकारी कार्यालय में निजी विद्यालय 10 मई तक जमा करा सकेंगे।
माध्यमिक शिक्षा निदेशालय की ओर से संबंधित निजी विद्यालयों को 12 जुलाई तक स्वीकृति अथवा अस्वीकृति की सूचना दी जाएगी। जो निजी विद्यालय मान्यता के नियमों को पूरा करते हैं। स्वीकृति पश्चात उन्हें 8 जुलाई तक आरक्षित कोष एवं बालिका फाउंडेशन की देय राशि का ड्राफ्ट जमा कराना होगा।
मान्यता प्रक्रिया में अब रहेगी पारदर्शिता
प्रो. देवनानी ने संविधान निर्माता बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की 125वीं जयंती पर ऑनलाइन मान्यता पोर्टल के लिए बधाई देते हुए कहा कि पोर्टल शुरू होने से अब पारदर्शिता के साथ निजी विद्यालयों को मान्यता मिल सकेगी। आवश्यकता इस बात की है कि निजी एवं सरकारी क्षेत्र के जरिए शिक्षा का अधिकाधिक प्रसार कर नामांकन एवं गुणवत्ता वृद्धि में राजस्थान को देशभर में अग्रणी बनाया जाए। उन्होंने सरकारी विद्यालयों में बढ़े साढ़े 8 लाख बच्चों के नामांकन को अगले सत्र में 10 लाख तक किए जाने पर भी जोर दिया।
आईसीटी ब्रिज के रूप में काम करेगा पोर्टल
शिक्षा राज्यमंत्री देवनानी ने बताया कि ऑनलाइन मान्यता सिस्टम आरटीई पोर्टल का ही एक एक्सटेंशन है जो अब से प्राइवेट स्कूल पोर्टल के नाम से जाना जाएगा। राज्य सरकार एवं राज्य के निजी विद्यालयों के लिए यह प्राईवेट स्कूल पोर्टल एक आईसीटी ब्रिज के रूप में काम करेगा।
आरटीई पोर्टल पर पूर्व में पंजीकृत सभी निजी विद्यालयों को इस बाबत एक यूनिक कोड पीएसपी यूनिक कोड आवंटित किया गया है। ऑनलाइन प्रक्रिया के लिए आरटीई पोर्टल पर पहले से पंजीकृत करीब 34000 विद्यालयों को अलग से पंजीकरण नहीं कराना होगा। उनके विद्यालय लॉगइन में ही मान्यता मेनू के अंतर्गत विभिन्न आप्शन उपलब्ध होंगे।
आगामी सत्र से पहले सभी पात्र शिक्षकों को मिलेगा पदोन्नति लाभ
शिक्षा राज्यमंत्री वासुदेव देवनानी ने कहा है कि प्रदेश में 13 हजार नए व्याख्याताओं की भर्ती जुलाई माह तक कर दी जाएगी। विद्यालयों में प्रयोगशाला सहायकों के पदों पर भी शीघ्र भर्ती प्रक्रिया शुरू की जा रही है। पदोन्नत द्वितीय श्रेणी शिक्षकों के 12 हजार पदों पर पदस्थापन आदेश जारी किए जा रहे हैं।
देवनानी गुरुवार को पोद्दार स्कूल में राजस्थान शिक्षा सेवा प्राध्यापक संघ (रेसला), राजस्थान शिक्षा सेवा परिषद (प्रधानाचार्य) द्वारा ‘सशक्त राष्ट्र के निर्माण में सामाजिक समरसता अभिवृद्धि के लिए शिक्षा की भूमिका’ तथा ‘माध्यमिक शिक्षा में वर्तमान में हुई प्रगति’ विषयक ‘मंथन’ समारोह में संबोधित कर रहे थे। उन्होंने कहा कि राजस्थान में 55 हजार शिक्षकों की पदोन्नति की गई है।
वर्ष 2016-17 की डीपीसी की भी तैयारी कर ली गई है। 15 अप्रैल से डीपीसी की प्रक्रिया प्रारंभ कर दी जाएगी। आगामी सत्र से पहले-पहले सभी पात्रता रखने वाले शिक्षकों को पदोन्नति का लाभ प्रदान किया जाएगा। डीडी के सभी 33 पदों पर डीपीसी कर दी गई है, पदस्थापन से अब डीडी का कोई पद रिक्त नहीं रहेगा।
नामांकित बच्चों की संख्या 80 लाख तक पहुंचाएं
देवनानी ने शिक्षकों से कहा कि वे प्रदेश में सरकारी विद्यालयों में नामांकित 68.5 लाख बच्चों की संख्या को बढ़ाकर 80 लाख तक पहुंचाएं। उन्होंने राजकीय विद्यालयों में पढ़ाने के स्तर में वृद्धि करने, वहां के माहौल को बच्चों के अनुकूल करने आदि के गुणात्मक प्रयास करने के साथ ही बच्चों को श्रेष्ठ शिक्षा देने पर जोर दिया।
उन्होंने विद्यालयों में सुबह वंदेमातरम, ध्यान, योग और सूर्य नमस्कार कराने तथा विद्यार्थियों को नैतिकता और संस्कार प्रदान करने वाली शिक्षा दिए जाने का आह्वान किया। देवनानी ने बाबा साहब भीमराव अंबेडकर की 125वीं जयंती पर रेसला के आयोजन को महत्वपूर्ण बताते हुए कहा कि बाबा साहब सभी समाजों के मसीहा थे। उन्होंने कहा कि सामाजिक समरसता शिक्षा के द्वारा ही संभव है।
प्रदेश में शिक्षा के लिए 209 अरब का बजट, मगर हम समाज को क्या दे रहे
प्रदेश में शिक्षा के 209 अरब के बजट की चर्चा करते हुए देवनानी ने कहा कि इस बड़ी राशि के प्रावधान के बदले हम समाज को क्या अपनी ओर से दे रहे हैं, इस पर भी शिक्षक विचार करें। इससे पहले समारोह में देवनानी का रेसला की ओर से 21 किलो की पुष्पमाला पहनाकर अभिनंदन किया गया।
समारोह में माध्यमिक शिक्षा के निदेशक बीएल स्वर्णकार, निदेशक प्राथमिक शिक्षा जगदीश पुरोहित, माध्यमिक शिक्षा अभियान के आयुक्त बाबूलाल मीणा, अतिरिक्त आयुक्त जस्सा राम चौधरी ने कहा कि गुणवत्ता की शिक्षा के लिए शिक्षक समुदाय प्रतिबद्ध होकर कार्य करें। रेसला के प्रदेशाध्यक्ष मोहन सियाग ने संगठन से संबंधित कार्यों की जानकारी दी।
सरकारी नौकरी - Army /Bank /CPSU /Defence /Faculty /Non-teaching /Police /PSC /Special recruitment drive /SSC /Stenographer /Teaching Jobs /Trainee / UPSC