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ग्रेड थर्ड शिक्षक भर्ती नियुक्ति से रोक हटी, पहली बार बाड़मेर में 4200 शिक्षकों की ज्वाॅइनिंग से स्कूलों में भर जाएंगे 91% पद

राजस्थान हाईकोर्ट ने तृतीय श्रेणी अध्यापक भर्ती लेवल प्रथम का रास्ता साफ कर दिया है। हाईकोर्ट ने लेवल प्रथम भर्ती से संबंधित लगाई गई सभी याचिकाओं को खारिज करते हुए शिक्षकों को नियुक्ति के आदेश दिए हैं। पिछले दो माह से भर्ती हाइकोर्ट में अटकी हुई थी।
लंबे समय से नवनियुक्त शिक्षकों को नियुक्ति का इंतजार था। प्रदेश के 26 हजार शिक्षकों के लिए सोमवार का दिन खुशी लेकर आया है। अब रोक हटने से चुनाव आयोग की अनुमति के बाद नवरात्र तक नियुक्ति आदेश मिल जाएंगे। बाड़मेर में पहली बार 4200 शिक्षकों की एक साथ नियुक्ति हाेगी, जो अब तक हुई शिक्षक भर्तियों में सबसे ज्यादा है। इन शिक्षकों की नियुक्ति के बाद जिले में 91.14% पद भर जाएंगे। महज 9 प्रतिशत पद ही खाली रहेंगे। ये पद भी 6डी में सैकंडरी सेटअप के कारण खाली हुए हैं।

वर्षों से शिक्षकों की कमी को लेकर जूझ रहे सरकारी स्कूलों में इस बार शिक्षकों की बंपर भर्तियों से पद रिक्तता से निजात मिल गई है। बाड़मेर में पहली बार बड़ी मात्रा में शिक्षकों को लगाया गया है, जहां 2017 में 37% जिले में रिक्त थे, अब ग्रेड थर्ड के लेवल प्रथम व द्वितीय से करीब 6 हजार शिक्षकों की नियुक्ति की गई है। इससे पद रिक्तता समाप्त हो गई है। शिक्षकों की कमी से स्कूलों पर तालाबंदी करने जैसी समस्या से छुटकारा मिल गया है। सीमावर्ती बाड़मेर जिले के लिए शिक्षा के क्षेत्र में यह राहत की खबर है। शिक्षकों की नियुक्ति के साथ ही इस साल प्रारंभिक शिक्षा में बच्चों के नामांकन भी इजाफा हुआ है।

ऐसे मिलेगी नियुक्ति: हाईकोर्ट से रोक हटी लेकिन चुनाव आयोग की अनुमति जरूरी

ग्रेड थर्ड लेवल प्रथम के 26 हजार पदों पर नियुक्ति से हाईकोर्ट ने रोक हटा दी है, लेकिन चुनाव आचार संहिता के कारण इनकी नियुक्ति के आदेश के लिए चुनाव आयोग से अनुमति लेनी होगी। सरकार की ओर से चुनाव आयोग को हाईकोर्ट की आदेश के साथ पत्र लिखकर नियुक्ति की सिफारिश करनी होगी। इसके बाद चुनाव आयोग की ओर से नियुक्ति के आदेश जारी किए जाएंगे। इस नवरात्र तक सभी 26 हजार शिक्षकों को नियुक्ति के आदेश जारी होने की संभावना है।

यूं समझें: जिले की 3980 स्कूलों नियुक्ति के बाद की स्थिति

ग्रेड थर्ड शिक्षक स्वीकृत भरे हुए रिक्त

लेवल प्रथम 9689 9132 557

लेवल द्वितीय 3693 3065 628

कुल 13382 12197 1185




याचिकाकर्ताओं की ये मांगें हाईकोर्ट ने खारिज कीं

तृतीय श्रेणी अध्यापक भर्ती लेवल प्रथम में याचिकाकर्ताओं ने समानीकरण व बोनस अंक की मांग को लेकर हाईकोर्ट में याचिकाएं दायर की थीं। याचिकाकर्ताओं का कहना था कि रीट-2017 के पेपर में हार्ड मार्किंग की गई है। लिहाजा इसी तर्ज पर पूर्व में हुई आरटेट-2011 व 2012 तथा रीट-2015 के आधार पर इसका समानीकरण किया जाए, वहीं रीट-2017 के पेपर में कुछ सवाल गलत थे उनके बोनस अंक दिए जाएं। इन सभी याचिकाओं को हाईकोर्ट ने खारिज कर दिया।

शिक्षा के गुणवत्ता की स्थिति भी सुधरने से बढ़ा नामांकन

पिछले साल के मुकाबले इस बार स्कूलों में नामांकन भी बढ़ा है। सरकारी स्कूलों के प्रति आमजन में विश्वास कायम हुआ है। पहले शिक्षकों की कमी के कारण सरकारी स्कूलों में बच्चों को पढ़ाने से अभिभावक भी कतराते थे। अब शिक्षकों की नियुक्ति शिक्षा की गुणवत्ता में सुधार हुआ है। 

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