संस्कृत शिक्षा विभाग के सेवा नियमों में संशोधन किए जाने के बाद प्रदेश के
5 हजार से ज्यादा शिक्षकों के प्रमोशन का रास्ता जल्द खुल सकता है।
संशोधन
की फाइल विभाग ने मुख्यमंत्री के पास भेज दी है जहां से अनुमति मिलने पर
इसे केबिनेट की मंजूरी के लिए पेश किया जाएगा।
मामले को लेकर राजस्थान शिक्षक राष्ट्रीय के पदाधिकारी जयपुर में
मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे और संस्कृत शिक्षा मंत्री किरण माहेश्वरी से उनके
निवास पर मुलाकात की थी। इसे लेकर माहेश्वरी ने बताया कि नियमों से
संबंधित फाइल सीएम को भेज दी है जहां से जल्द ही केबिनेट में पेश किए जाने
की उम्मीद है।
सीएम ने भी मुलाकात के दौरान वंचित शिक्षकों को जल्द प्रमोशन देने का
आश्वासन दिया है। शिक्षक संघ प्रदेश सचिव ने बताया कि ढाई साल पहले बदले
नियमों से रुकी हुई है
पदोन्नति : राज्य सरकार ने ढाई साल पहले विभाग के नियमों में संशोधन
किया था जिसमें सिर्फ सामान्य विषय पढ़ा रहे ग्रेड थर्ड, ग्रेड सेकंड,
लेक्चरर एवं हैड मास्टर तक को प्रमोशन योग्य माना गया। यानी इस नियम के तहत
प्रमोशन सिर्फ उन्हें मिलेगा, जिनके प्रवेशिका से लेकर शास्त्री, आचार्य
डिग्री तक संस्कृत विषय है और वर्तमान में भी वे संस्कृत पढ़ा रहे हैं।
संस्कृत शिक्षा विभाग में सामान्य विषय पढ़ाने वालों की संख्या करीब 80
प्रतिशत है जबकि संस्कृत पढ़ाने वाले मात्र 20 प्रतिशत है। इस आदेश से करीब
पांच हजार शिक्षक का प्रमोशन रुक गया था।